उत्तरकाशी: जोशियाड़ा बैराज से बरामद स्वतंत्र पत्रकार राजीव प्रताप के शव का केदार घाट पर अंतिम संस्कार कर दिया गया है. राजीव प्रताव बीती 18 सितंबर से लापता चल रहे थे. जो गंगोरी-गरमपानी के बीच से अचानक लापता हो गए थे, उसकी कार स्यूणा के पास भागीरथी नदी में मिली थी. जबकि, उनका शव जोशियाड़ा बैराज से बरामद हुआ.
18 सितंबर की रात दोस्त की कार लेकर निकला था राजीव प्रताप: उत्तरकाशी पुलिस के मुताबिक, बीती 18 सितंबर की रात स्वतंत्र पत्रकार राजीव प्रताप अपने एक दोस्त सोबन सिंह की कार लेकर ज्ञानसू से गंगोरी के लिए रवाना हुए थे. अगले दिन सुबह तक जब राजीव नहीं लौटा तो उसके दोस्त ने इसकी जानकारी पुलिस को देकर उसकी खोजबीन शुरू की. खोजबीन के दौरान 19 सितंबर को स्यूणा गांव के पास सोबन सिंह की कार भागीरथी नदी के बीच में मिली, लेकिन उसमें राजीव प्रताप मौजूद नहीं था.
इसके बाद परिजनों ने उसकी गुमशुदगी की तहरीर नगर कोतवाली में दर्ज करवाई. पुलिस समेत एसडीआरएफ ने भागीरथी नदी में खोजबीन की. साथ ही सीसीटीवी फुटेज भी खंगाले, लेकिन उसमें उसका कुछ पता नहीं लग पाया. वहीं, डीएम और एसपी के निर्देश पर एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और क्यूआरटी टीम ने गंगोरी से लेकर चिन्यालीसौड़ तक भागीरथी नदी में खोज अभियान शुरू किया गया.
10 दिन बाद जोशियाड़ा बैराज में मिला शव: इस दौरान रविवार यानी 18 सितंबर की सुबह टीम को जोशियाड़ा बैराज में एक शव दिखाई दिया. टीम ने शव को झील से बाहर निकालकर पुलिस को सौंपा. उसके बाद पुलिस ने शव का पंचनामा भर शिनाख्त के लिए जिला अस्पताल उत्तरकाशी भेजा. जहां पर राजीव प्रताप के परिजनों ने उसकी शिनाख्त की. वहीं, सोमवार यानी 29 सितंबर को परिजनों ने राजीव का अंतिम संस्कार केदार घाट पर कर दिया.
सीएम धामी दे चुके घटना की जांच के निर्देश: वहीं, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी भी वरिष्ठ पत्रकार राजीव प्रताप के निधन पर शोक जता चुके हैं. साथ ही परिजनों के प्रति संवेदनाएं प्रकट करते हुए घटना की गहन एवं निष्पक्ष जांच के निर्देश दिए हैं. उधर, सूचना महानिदेशक बंशीधर तिवारी ने भी राजीव प्रताप के निधन पर गहरा शोक व्यक्त कर अपनी संवेदनाएं प्रकट की है.
