बनभूलपुरा हिंसा जमानत मामला, नैनीताल पुलिस ने दी सफाई, समय पर दाखिल की चार्जशीट, 108 गवाह किये पेश

खबर उत्तराखंड

हल्द्वानी: नैनीताल हाईकोर्ट ने आठ फरवरी को बनभूलपुरा के मलिक का बगीचा क्षेत्र में अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई के दौरान हुई हिंसा व आगजनी करने की छह महिलाओं समेत 50 आरोपियों को जमानत दी. जिसके बाद से पुलिस की लचर कार्य प्रणाली को लेकर सोशल मीडिया और अखबारों में खबर छपी. जिस पर अब एसएसपी नैनीताल ने सफाई दी है.

एसएसपी नैनीताल प्रह्लाद मीणा ने कहा बनभूलपुरा हिंसा के मामले में आरोपियों के खिलाफ पुलिस ने विवेचना और गवाहों के साथ-साथ चार्जशीट समय से दाखिल की गई थी. उन्होंने बताया इस घटना में नैनीताल पुलिस ने 151 लोगों की गवाही करवाई, जिसमें 44 सरकारी गवाहों के अलावा 19 स्वतंत्र लोगों की गवाही हुई. 88 पुलिस कर्मियों की भी इस मामले में गवाही करवाई गई. नियमानुसार पुलिस ने अपनी कार्रवाई की है. संविधान में सभी को जमानत लेने का अधिकार है. न्यायालय ने कानून के तहत उनको जमानत दी है. उन्होंने कहा सोशल मीडिया और अखबारों में जिस तरह से आरोपियों की जमानत को लेकर पुलिस के ऊपर सवाल खड़े किए गए हैं वो पूरी तरह से निराधार हैं.

इसी साल 8 फरवरी को बनभूलपुरा में अवैध मदरसे और नमाज स्थल तोड़ने को लेकर बनभूलपुरा में बवाल हुआ था. उपद्रवियों ने पुलिस, प्रशासन व नगर निगम की टीम पर पथराव किया था. थाने को भी आग के हवाले कर दिया था. प्रकरण में पांच लोगों की मौत हो गई थी. पूरे मामले में पुलिस ने मामला दर्ज करते हुए 106 लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेजने की कार्रवाई की थी. जिसमें न्यायालय ने अभी तक 51 लोगों को जमानत दे दी है. हिंसा के 50 आरोपियों को जमानत मिलने के बाद से पुलिस के ऊपर सवाल खड़े हो रहे थे, जिस पर पुलिस ने सफाई दी है.

Spread the love

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *