देहरादूनः केंद्र सरकार द्वारा उत्तराखंड के लिए स्पेशल असेसमेंट फॉर कैपिटल इन्वेस्टमेंट फंड के तहत ₹615 करोड़ में से ₹365 करोड़ पहली किस्त जारी हो चुकी है. वित्त सचिव ने सभी विभागों को हिदायत दी है कि मार्च से पहले दूसरी किस्त आनी है, इसलिए सभी समय से अपने यूटिलिटी सर्टिफिकेट (उपयोगिता प्रमाण पत्र) जमा कर दें.
जीएसटी के तहत राज्यों को मिलने वाले कंपनसेशन (मुआवजा) के बंद होने के बाद सभी राज्यों द्वारा उनके वित्तीय भार को लेकर केंद्र सरकार से किए गए अनुरोध के बाद केंद्र सरकार द्वारा ऐसे सभी राज्यों के लिए स्पेशल असेसमेंट फॉर कैपिटल इन्वेस्टमेंट फंड (SAS for state) की व्यवस्था की गई है. इस फंड से प्रदेश में सभी अवस्थापना विकास के काम होने हैं. और खासतौर से ऐसे बड़े प्रोजेक्ट जिनका वित्तीय भार राज्य सरकार वहन करने में असमर्थ रहती है, उन प्रोजेक्ट को पूरा करने में फंड का इस्तेमाल किया जाता है.
उत्तराखंड वित्त सचिव दिलीप जावलकर ने बताया कि उत्तराखंड राज्य को केंद्र से एसएएस फॉर स्टेट स्कीम के तहत जारी होने वाले 615 करोड़ में से 365 करोड़ की पहली किस्त राज्य सरकार को प्राप्त हो गई है. वही यह फंड मार्च से पहले पूरा खत्म करना है. इसलिए सभी विभागों को यह निर्देश दिए गए हैं कि वह समय से अपने यूटिलिटी सर्टिफिकेट जमा करवाएं और इस फंड का समय से सदुपयोग किया जाए.
मीडिया से बात करते हुए सचिव वित्त दिलीप जवालकर ने बताया कि भारत सरकार द्वारा सभी राज्यों के लिए एसएएस फॉर स्टेट स्कीम बनाई गई है, जिसके तहत फाइनेंस कमीशन के फॉर्मूले के तहत फंड का आवंटन होता है. सचिव जावलकर ने बताया कि भारत सरकार की कोशिश रहती है कि सभी राज्यों को एक निश्चित फॉर्मूले के तहत अवस्थापना विकास, जिसमें की मूलभूत सुविधाएं मौजूद होती हैं, उसके लिए बराबर फंड रिलीज किया जाए. इसमें खास तौर से सड़क सुरक्षा के कार्य और प्रदेश के बड़े प्रोजेक्ट मौजूद रहते हैं.