हरिद्वार : उत्तराखंड में बीजेपी के नेता पूर्व विधायक कुंवर प्रणव ने खानपुर से विधायक उमेश कुमार के कैंप कार्यालय पर गोलियां चलाई हैं. इस घटना की वजह से उमेश कुमार और प्रणव चैंपियन के बीच विवाद बताया जा रहा है. इस घटना के बाद पूर्व बीजेपी विधायक की गोलियां चलाते हुए तस्वीरें सामने आई हैं. सूत्रों की माने तो विधायक के कार्यालय पर कई राउंड फायरिंग हुई है.
रुड़की से निर्दलीय खानपुर विधायक उमेश कुमार के कैंप कार्यालय पर दिन दहाड़े फायरिंग की घटना हुई है. उनके कार्यालय पर तोड़फोड़ की घटना को भी अंजाम दिया गया है. विधायक के कार्यालय पर कई राउंड फायरिंग हुई है. फायरिंग में तीन युवकों के घायल होने की सूचना है. घटना स्थल पर मौजूद लोगों की माने तो कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन ने फायरिंग कराई है.
जांच में जुटी पुलिस
कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन खानपुर से पूर्व में विधायक रह चुके हैं. कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन ने अपने फेस बुक पेज पर मारपीट का वीडियो डाला है. बताया जा रहा है कि कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन ने युवक के साथ मारपीट की है. इस घटना के बाद घटनास्थल पर पुलिस मौजूद है.
फायरिंग की घटना के बाद अब पुलिस फुटेज खंगाल रही है. ये पूरा मामला रुड़की के गंग नहर स्थित विधायक उमेश कुमार के कार्यालय का बताया जा रहा है. आईजी गढ़वाल राजीव स्वरूप ने कहा कि घटना मेरे संज्ञान में है. इसको लेक एसएसपी को बता दिया गया है कि जांच कर तुरंत कार्रवाई करें.
बताया जा रहा है कि दोनों के बीच पुराना विवाद है और बीते विधानसभा चुनाव में भी उमेश कुमार ने निर्दलीय ही प्रणव सिंह चैंपियन को हराकर चुनाव जीता था. लेकिन अब इस फायरिंग के घटना के बाद विवाद बढ़ता हुआ नजर आ रहा है. हालांकि अभी इस पूरी घटना की जांच पुलिस कर रही है.
बयानबाजी तेज
विवाद के बाद सोशल मीडिया पर भी दोनों नेताओं के समर्थकों के बीच बयानबाजी तेज हो गई है. उमेश कुमार ने चैंपियन को खुलेआम चुनौती दी है, वहीं चैंपियन ने भी अपने समर्थकों को एकजुट रहने का संदेश दिया है. इस घटना के बाद क्षेत्र के लोग भयभीत हैं. स्थानीय निवासियों का कहना है कि नेताओं के बीच की यह लड़ाई अब आम जनता के लिए खतरा बनती जा रही है. लोग प्रशासन से मामले को जल्द से जल्द सुलझाने की अपील कर रहे हैं.
कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन और उमेश कुमार के बीच हुआ यह विवाद उत्तराखंड की राजनीति में नई चुनौती खड़ी कर रहा है. दोनों पक्षों के बीच जारी तनाव को कम करने के लिए पुलिस प्रशासन और सरकार पर दबाव बढ़ गया है. मामले की जांच जारी है और क्षेत्र में शांति बहाल करने के लिए प्रशासन ने पूरी ताकत झोंक दी है.