देहरादून: उत्तराखंड में कांग्रेस का हाथ छोड़कर बीजेपी में शामिल होने वाले नेताओं की लिस्ट लंबी होती जा रही है, जिससे लोकसभा चुनाव 2024 में कांग्रेस की मुश्किले कम होने के बचाए बढ़ती हुई नजर आ रही है. कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में जाने वाले नेताओं पर उत्तराखंड कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष करण माहरा ने तंज कसा है. साथ ही उन्होंने बीजेपी को भी आड़े हाथों लिया है.
उत्तराखंड कांग्रेस के प्रदेश मुख्यालय देहरादून में सोमवार 18 मार्च को प्रदेश अध्यक्ष करण माहरा ने प्रेस वार्ता की. इस दौरान उन्होंने बीजेपी पर उनके नेताओं को मुकदमों और जेल में जाने का डर दिखाकर अपनी पार्टी में शामिल कराने का आरोप लगाया.
करण माहरा ने तंज सकते हुए कहा कि भाजपा ने ऐसी वाशिंग मशीन बनाई है, जिसमें दल बदल करने वाले नेता मोदी वाशिंग मशीन में क्लीन होने के बाद पाक साफ हो जाते हैं. यही बीजेपी का चाल चरित्र और चेहरा है, जो सबके सामने जाहिर है. पूरे देश में ऑपरेशन लोटस फेमस हो रहा है.
करण माहरा का आरोप है कि बीजेपी जनता की चुनी हुई सरकारों को गिरा रही है. इस अभियान के तहत उत्तराखंड को भाजपा ने हाल ही में शरण स्थली बनाया, जहां हिमाचल के विधायकों को लाया गया और यहां के भाजपा विधायक उनकी मेहमान नवाजी में व्यस्त रहे.
करण माहरा ने कांग्रेस के प्रदेश महामंत्री रहे और बड़कोट नगर पालिका के पूर्व अध्यक्ष के पार्टी छोड़ने व बीजेपी में शामिल होने पर कहा कि उन पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगे है. उन आरोपों को आनंद असवाल और प्रवेश गौड़ ने उठाया था, लेकिन बीजेपी में जाते ही वह मोदी वाशिंग मशीन में क्लीन होकर निकल गए.
इसी तरह पार्टी छोड़ने वाले महेंद्र राणा पर भी अनियमितता के आरोप लगे और वह भी बीजेपी की वाशिंग मशीन में चले गए. इसी प्रकार चौबट्टाखाल से पूर्व प्रत्याशी रहे केशर सिंह पर आबकारी से जुड़े गंभीर आरोप लगे, लेकिन वह भी भाजपा की वाशिंग मशीन में चले गए.
पार्टी छोड़ने वाले दिनेश घने के बेटे कनक घने पर दुष्कर्म और मारपीट के मुकदमे दर्ज हुए, लेकिन पार्टी छोड़ने के बाद वह भी वाशिंग मशीन में धूल गए. बीजेपी ज्वाइन करने से 12 घंटे पहले बदरीनाथ के विधायक रहे राजेंद्र भंडारी लगातार भाजपा पर आक्रामक थे, उन पर राज जात यात्रा के टेंडरों में अनियमितताएं बरतने के आरोप थे. वह भी बहुत तेजी से वाशिंग मशीन में घुस गए. करण माहरा ने भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष से सवाल किया है कि क्या अनियमितताएं बरतने वाले इन नेताओं पर मुकदमे चलाए जाएंगे.